मुंगेर जिले के मुफस्सिल थाना क्षेत्र स्थित सुतुरखाना में एक दुखद घटना सामने आई, जहां घरेलू कलह के चलते एक महिला ने खुदकुशी करने की कोशिश की। 30 वर्षीय शाहिस्ता प्रवीण अपने पति मो. अलीम के तानों और लगातार हो रही कहासुनी से इतनी परेशान हो गई कि उसने फांसी लगाकर अपनी जीवन लीला समाप्त करने की ठान ली। हालांकि, ऐन वक्त पर उसके पति ने उसे फंदे से उतारकर सदर अस्पताल पहुंचाया, जहां महिला का फिलहाल इलाज चल रहा है।
शादी के बाद से ही शुरू हुआ विवाद
सदर अस्पताल में इलाज के दौरान शाहिस्ता प्रवीण ने बताया कि उसकी शादी वर्ष 2022 में मो. अलीम के साथ हुई थी। शादी के बाद से ही उनके बीच कई बार विवाद होता रहा, लेकिन हालात इतने गंभीर हो जाएंगे, इसका अंदाजा उसे भी नहीं था। शाहिस्ता ने बताया कि उसकी 10 महीने की एक बेटी भी है, लेकिन घरेलू झगड़ों के कारण उसका जीवन सुखद नहीं रहा।
पड़ोस की महिलाओं से बातचीत पर पति को थी आपत्ति
शाहिस्ता के मुताबिक, उसका पति पड़ोस की महिलाओं या लड़कियों से उसकी किसी भी तरह की बातचीत को लेकर काफी नाराज रहता था। उसे शक था कि पड़ोसी उसके परिवार में दखलअंदाजी कर रहे हैं और उनका घर बर्बाद कर सकते हैं। इसी वजह से अलीम अक्सर शाहिस्ता को ताने मारता था और कई बार उसे छोड़ देने की धमकी भी दे चुका था।
व्हाट्सएप सेटिंग बन गई विवाद की वजह
रविवार की दोपहर शाहिस्ता अपने एंड्रॉयड मोबाइल में व्हाट्सएप वीडियो कॉल की सेटिंग कर रही थी। इसके लिए उसने पड़ोस की एक छोटी बच्ची की मदद ली, ताकि वह ईद के मौके पर पूर्णिया स्थित अपने माता-पिता से वीडियो कॉल पर बात कर सके। लेकिन तभी उसका पति वहां पहुंच गया और इस बात पर गुस्सा हो गया।
पति मो. अलीम ने इस छोटी-सी बात को लेकर शाहिस्ता से जमकर झगड़ा किया और उसे ताने मारने लगा। पति की इस बेरुखी और बार-बार के तानों से परेशान होकर शाहिस्ता ने खुद को खत्म करने का फैसला कर लिया।
गुस्से में उठाया आत्मघाती कदम
पति के तानों से आहत शाहिस्ता ने घर के अंदर जाकर दुपट्टे का फंदा बनाया और आत्महत्या करने की कोशिश की। जैसे ही अलीम को इस बात की भनक लगी, वह भागकर कमरे में पहुंचा और फौरन कैंची से दुपट्टा काटकर शाहिस्ता को नीचे उतारा। इसके बाद आनन-फानन में उसे मुंगेर सदर अस्पताल लेकर गया, जहां डॉक्टरों ने उसका इलाज शुरू किया।
पति ने बताई अपनी मजबूरी
इस घटना पर मो. अलीम ने कहा कि वह नहीं चाहता कि उसकी पत्नी पड़ोस की महिलाओं से बातचीत करे। उसने बताया कि उसकी पहली पत्नी की मौत भी पड़ोसियों की वजह से हुई थी, इसलिए वह चाहता है कि शाहिस्ता पड़ोस की महिलाओं से दूर रहे। हालांकि, उसकी सख्ती और तानों ने शाहिस्ता को मानसिक रूप से इतना परेशान कर दिया कि उसने यह खतरनाक कदम उठा लिया।
पुलिस को नहीं मिली शिकायत
इस मामले में मुफस्सिल थाना प्रभारी विपिन कुमार सिंह ने बताया कि इस घटना को लेकर पुलिस को अभी तक कोई शिकायत नहीं मिली है। अगर कोई शिकायत दर्ज कराई जाती है, तो पुलिस मामले की जांच करेगी और आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
घरेलू हिंसा और मानसिक प्रताड़ना का सवाल
यह घटना सिर्फ एक पारिवारिक झगड़े तक सीमित नहीं है, बल्कि यह महिलाओं के प्रति घरेलू हिंसा और मानसिक प्रताड़ना का एक उदाहरण भी है। शाहिस्ता जैसी कई महिलाएं समाज में हैं, जो घरेलू कलह और पति की उपेक्षा से तंग आकर अवसाद में चली जाती हैं। ऐसे में यह जरूरी है कि महिलाएं अपनी आवाज उठाएं और समय रहते किसी भरोसेमंद व्यक्ति से अपनी तकलीफ साझा करें, ताकि वे किसी गलत कदम को उठाने से बच सकें।