हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए भयावह आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। इस हमले में कई निर्दोष नागरिकों ने अपनी जान गंवाई, जिसने हर देशवासी के हृदय को पीड़ा से भर दिया। इसी दर्द और आक्रोश को स्वर देते हुए बिहार के मुंगेर जिले में एक विशाल और भव्य तिरंगा यात्रा का आयोजन किया गया। इस यात्रा का उद्देश्य न केवल शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करना था, बल्कि आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता भी प्रदर्शित करना था।
आयोजन की भव्यता और देशभक्ति की भावना
विजय चौक प्रबंध समिति और मुंगेर सेवा मंच के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित इस तिरंगा यात्रा ने पूरे शहर को देशभक्ति के रंग में रंग दिया। यात्रा के दौरान लोगों के चेहरों पर गहरा राष्ट्रप्रेम झलक रहा था। हर हाथ में तिरंगा था, हर गली देशभक्ति के नारों से गूंज रही थी। ‘भारत माता की जय’, ‘वंदे मातरम्’, ‘अमर शहीदों अमर रहो’ जैसे नारों ने पूरे माहौल को जोश और गर्व से भर दिया।
यात्रा का शुभारंभ: बेकापुर स्थित विजय चौक से
तिरंगा यात्रा की शुरुआत मुंगेर के ऐतिहासिक विजय चौक से हुई। सुबह से ही शहर के विभिन्न हिस्सों से लोग यहाँ एकत्र होने लगे थे। युवा, बुजुर्ग, महिलाएं और बच्चे, सभी में गजब का उत्साह देखने को मिला। विशेष रूप से युवाओं का जोश देखते ही बनता था। यात्रा में 100 फीट लंबा भव्य तिरंगा विशेष आकर्षण का केंद्र रहा, जिसे देशभक्तों ने गर्व के साथ थामे रखा।
यात्रा का मार्ग और प्रमुख स्थल
यह तिरंगा यात्रा विजय चौक से निकलकर डॉ. राजेंद्र प्रसाद चौक, मुख्य बाजार, गांधी चौक, आजाद चौक और लोहा पट्टी होते हुए पुनः विजय चौक पर जाकर समाप्त हुई। पूरे रास्ते भर देशभक्ति की लहरें दौड़ती रहीं। बाजारों में दुकानदारों ने पुष्प वर्षा कर यात्रियों का स्वागत किया। राहगीरों ने तिरंगे को सलाम कर अपनी भावनाओं को व्यक्त किया।
शहीदों को दी गई भावपूर्ण श्रद्धांजलि
यात्रा के दौरान हर व्यक्ति की आँखों में शहीदों के प्रति सम्मान और दुख साफ झलक रहा था। जब यात्रा विजय चौक पर समाप्त हुई, तब उपस्थित जनसमूह ने दो मिनट का मौन रखकर पहलगाम आतंकी हमले में शहीद हुए सभी वीरों को भावपूर्ण श्रद्धांजलि दी। मोमबत्तियाँ जलाकर और पुष्पांजलि अर्पित कर लोगों ने शहीदों के प्रति अपना आभार व्यक्त किया।
पाकिस्तान के खिलाफ आक्रोश
देशभक्ति की भावना से ओत-प्रोत इस तिरंगा यात्रा का एक और महत्वपूर्ण पहलू था – पाकिस्तान के खिलाफ जताया गया गुस्सा। यात्रा के समापन पर उपस्थित जनसमूह ने पाकिस्तान के झंडे जलाकर अपने आक्रोश और विरोध को प्रकट किया। यह प्रतीकात्मक विरोध आतंकवाद को समर्थन देने वाले तत्वों के खिलाफ देशवासियों के गहरे रोष को दर्शाता है।
यात्रा का नेतृत्व: संजय बबलू और रवि शंकर पांडे की भूमिका
इस भव्य आयोजन का नेतृत्व मुंगेर सेवा मंच के अध्यक्ष संजय बबलू और उपाध्यक्ष रवि शंकर पांडे ने किया। दोनों ही नेताओं ने यात्रा के सफल संचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने उपस्थित लोगों को देशभक्ति की भावना से ओत-प्रोत रहने और आतंकवाद के खिलाफ एकजुट रहने का संदेश भी दिया।
युवाओं और सामाजिक संगठनों की सक्रिय भागीदारी
इस तिरंगा यात्रा में मुंगेर के सैकड़ों युवाओं ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। विभिन्न सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधि भी इस आयोजन में शामिल हुए और अपने संगठन के बैनरों के साथ यात्रा में भाग लेकर अपनी एकजुटता का परिचय दिया। युवाओं के हाथों में तिरंगा और गगनभेदी नारों से माहौल देशप्रेम से सराबोर हो गया।
संदेश और संकल्प
तिरंगा यात्रा के अंत में सभी प्रतिभागियों ने एक स्वर में संकल्प लिया कि वे अपने देश की रक्षा, अखंडता और गौरव के लिए हमेशा तत्पर रहेंगे। आतंकवाद और उसके समर्थकों के खिलाफ वे हर मोर्चे पर एकजुट होकर संघर्ष करेंगे। इस यात्रा ने मुंगेर ही नहीं, बल्कि पूरे देशवासियों को यह संदेश दिया कि भारतवासी आतंक के सामने कभी झुकेंगे नहीं और हर चुनौती का डटकर मुकाबला करेंगे।