मुंगेर जिले में एक बार फिर सड़क सुरक्षा की चिंताजनक स्थिति सामने आई है। मंगलवार को लालदरवाजा इलाके में एक भीषण सड़क हादसा हुआ, जिसमें एक ऑटो रिक्शा के पलटने से एक ही परिवार के 10 से अधिक सदस्य घायल हो गए। यह दुर्घटना तब हुई जब परिवार के सदस्य चंडिका स्थान से पूजा करके वापस लौट रहे थे। घायलों को तुरंत मुंगेर सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनका इलाज चल रहा है।
घटना का विस्तृत विवरण
कब और कहाँ हुआ हादसा?
- स्थान: लालदरवाजा, मुंगेर शहर
- समय: मंगलवार दोपहर (अनुमानित 2:30 बजे)
- वाहन: ई-रिक्शा (टोटो) और यात्रियों से भरा ऑटो
क्या हुआ था?
1. पूजा से लौट रहे थे परिवार के सदस्य
- मुफस्सिल थाना क्षेत्र के परोरा टोला के एक परिवार के 20 से अधिक सदस्य दो ऑटो में सवार होकर चंडिका स्थान (पाठा) पूजा करने गए थे।
- पूजा-अर्चना और बलि देने के बाद वे वापस लौट रहे थे।
2. लालदरवाजा पहुँचते ही हुई भीषण टक्कर
- जैसे ही ऑटो लालदरवाजा पहुँचा, एक ई-रिक्शा (टोटो) से उसकी जोरदार टक्कर हो गई।
- टक्कर इतनी तेज थी कि ऑटो पलट गया और उसमें सवार कई महिलाएँ व बच्चे जख्मी हो गए।
3. स्थानीय लोगों ने किया रेस्क्यू
- हादसे के बाद स्थानीय नागरिकों ने घायलों को बाहर निकाला और उन्हें अस्पताल पहुँचाया।
- कुछ लोगों ने पुलिस को सूचना दी, जिसके बाद मौके पर पुलिस टीम पहुँची।
घायलों की स्थिति और अस्पताल में इलाज
प्रमुख घायलों के नाम:
- खुशबू देवी (35 वर्ष)
- टुकटुक कुमार (5 वर्ष)
- मेघा कुमारी (4 वर्ष)
- सुदामा कुमार (15 वर्ष)
- ललिता देवी (40 वर्ष)
- मीना देवी (28 वर्ष)
- उषा देवी (50 वर्ष)
- सावित्री देवी (45 वर्ष)
- पल्लवी कुमारी (12 वर्ष)
- रेखा देवी (30 वर्ष)
चिकित्सीय स्थिति:
- सभी घायलों को मुंगेर सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
- डॉक्टरों के अनुसार, सभी की हालत स्थिर है और वे खतरे से बाहर हैं।
- कुछ बच्चों व बुजुर्गों को गंभीर चोटें आई हैं, लेकिन उनका इलाज जारी है।
पुलिस की कार्रवाई और जांच
- मुंगेर पुलिस ने घटना स्थल का निरीक्षण किया और दोनों वाहनों को जब्त कर लिया।
- ई-रिक्शा चालक से पूछताछ की जा रही है कि क्या वह ओवरस्पीड कर रहा था या लापरवाही से गाड़ी चला रहा था।
- पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और सड़क दुर्घटना के नियमों के तहत केस दर्ज किया जा सकता है।
सड़क सुरक्षा पर सवाल
यह घटना एक बार फिर मुंगेर में सड़क सुरक्षा की खस्ता हालत को उजागर करती है। कई सवाल उठते हैं:
- क्या शहर में ई-रिक्शा और ऑटो चालकों के लिए सख्त नियम हैं?
- क्या ट्रैफिक पुलिस नियमित चेकिंग करती है?
- क्यों अक्सर ऐसी दुर्घटनाएँ होती हैं जिनमें निर्दोष लोगों की जानें जाती हैं?
निष्कर्ष
- वाहन चालकों को सतर्कता बरतनी चाहिए, खासकर भीड़भाड़ वाले इलाकों में।
- सरकार को सड़क सुरक्षा नियमों को सख्ती से लागू करना चाहिए ताकि ऐसी घटनाएँ कम हों।
- आम नागरिकों को भी हेलमेट और सीट बेल्ट का उपयोग करना चाहिए, भले ही वे छोटी दूरी की यात्रा कर रहे हों।